MP News : मध्य प्रदेश में 9200 स्कूलों का सीएम राइज और पीएम श्री योजना में होगा चयन: स्कूल शिक्षा मंत्री इंदरसिंह परमार
Today Betul News : बैतूल। मध्य प्रदेश में 9200 स्कूलों का सीएम राइज/पीएमश्री योजना में चयन किया जा रहा है। इन स्कूलों में प्ले स्कूल के रूप में बाल वाटिका तैयार की जाएगी एवं छोटे बच्चों को खेल-खेल में शिक्षा पद्धति से पढ़ाया जाएगा। प्रदेश के स्कूल शिक्षा एवं सामान्य प्रशासन विभाग के मंत्री इंदर सिंह परमार ने बैतूल में इस संबंध में जानकारी देते हुए बताया कि प्रदेश में प्राथमिक शिक्षा मातृभाषा/जनजातीय भाषा में प्रदाय करने के लिए पुस्तकें तैयार की जा रही है।
उन्होंने कहा कि सीएम राइज स्कूलों में संसाधनों की कमी नहीं आने दी जाएगी। साथ ही इनको सर्वसुविधा संपन्न बनाया जाएगा। सभी स्कूलों में कक्षा 6वीं से 8वीं तक के स्कूलों में पर्याप्त फर्नीचर की व्यवस्था भी की जा रही है। बैतूल के प्रभारी मंत्री होने के कारण परमार बैतूल पहुंचे थे। बुधवार को उन्होंने जिला योजना समिति की बैठक ली और अधिकारियों को कड़े निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य सुविधाओं में भी प्रदेश में उत्तरोत्तर प्रगति की जा रही है। स्वास्थ्य केन्द्रों के भवनों के निर्माण कराए जा रहे हैं। किसी भी स्थान पर स्वास्थ्य सेवाओं में कमी नहीं आने दी जाएगी।
प्रभारी मंत्री ने कहा कि स्कूलों एवं छात्रावासों के भवनों की मरम्मत के लिए पर्याप्त राशि उपलब्ध कराई जा रही है। मरम्मत का कार्य समय सीमा में पूर्ण कराया जाए। यह सुनिश्चित किया जाए कि बरसात के दौरान किसी भी स्कूल अथवा छात्रावास की छतों में रिसाव न हो। उन्होंने सीएम राइज स्कूलों का कार्य भी अपेक्षित गति से पूर्ण करने के निर्देश दिए।
नलजल योजनाओं के गलत प्रमाणीकरण पर होगी कार्रवाई
बैठक में जल जीवन मिशन अंतर्गत निर्मित की जा रही नल जल योजनाओं की गुणवत्ता के संबंध में शिकायतें मिलने पर प्रभारी मंत्री ने कहा कि ऐसे स्थान चिन्हित कर निरीक्षण करें, जहां कार्य पूरा नहीं हुआ है अथवा अधूरा है। साथ ही ऐसे स्थानों का भी निरीक्षण किया जाए जहां ठेकेदारों द्वारा सीसी सडक़ें खोद दी गई हैं एवं उनकी मरम्मत नहीं की गई है। दोनों स्थितियों में तत्परता से आवश्यक सुधार एवं मरम्मत कार्य करवाया जाए। बैठक में प्रभारी मंत्री ने कहा कि प्रत्येक जनपद स्तर पर जनप्रतिनिधियों के साथ जलजीवन मिशन की नल जल योजनाओं के संबंध में समीक्षा बैठक आयोजित की जाए। योजनाओं के क्रियान्वयन में कोई खामियों की जानकारी मिलती है तो उनका तत्परता से निराकरण किया जाए।
पूर्ण नल जल योजनाओं की जानकारी जनप्रतिनिधियों को उपलब्ध कराई जाए। इस बात का विशेष ध्यान रखा जाए कि सरकार की इस महत्वपूर्ण योजना के क्रियान्वयन में लापरवाही न हो। जो पंचायतें नल-जल योजनाओं की पूर्णता के संबंध में गलत प्रमाणीकरण करेंगीं, उनमें जिम्मेदारों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। बैठक में जिले में जल निगम अंतर्गत संचालित जल प्रदाय योजनाओं की भी समीक्षा की गई। साथ ही कहा गया कि इन जल प्रदाय योजनाओं के कार्य क्षेत्र की पुनर्संरचना कर निकट के गांव वाले ग्रामीणों को योजनाओं का लाभ दिया जाना सुनिश्चित किया जाए।