किसानों से धोखा: कोयले की राख से तैयार की जा रही नकली खाद
बैतूल जिले के सारणी में पुलिस ने अमानक खाद की बोरियों से भरा ट्रक पकड़ा
Formers News : बैतूल। किसान भाईयों सतर्क हो जाएं। आपको सुपर पाउडर के नाम पर जो जिंक, बोरान, सल्फर, आयरन, कापर, मैगनीज का मिश्रण बेचा जा रहा है उसमें कहीं कोयले की राख तो नही है। मध्यप्रदेश के बैतूल जिले में पुलिस ने सारणी के पाटाखेड़ा में स्थित गोदाम पर जब छापा मारा तो वहां सतपुड़ा ताप विद्युत गृह से निकलने वाली राख मिली।
इसी राख में कुछ केमिकल मिलाकर किसानों को सभी फसलों के लिए उपयोगी खाद बताकर 50 किलो की बोरी 750 रुपये में बेचने के लिए तैयार की जा रही थी। अब पुलिस और कृषि विभाग की टीम जांच कर रही है कि किसानों को फर्जी तरीके से खाद तैयार कर बेचने वाला गिरोह कौन सा है।
सारणी थाने की पुलिस को शनिवार देर रात सूचना मिली थी कि ट्रक में अमानक खाद की बोरियां भरी जा रही हैं। इस पर पुलिस मौके पर पहुंची और जांच पड़ताल की तो बड़ा खुलासा हो गया। सारणी के सतपुड़ा ताप विद्युत गृह से निकलने वाली राख को बोरियों में बंद कर जय किसान एआर सुपर पाउडर गीतांजलि आर्गेनिक प्राइवेट लिमिटेड का टैग लगाकर बाजार में भेजा जा रहा था। पुलिस ने ट्रक क्रमांक एमपी-16 जीए- 1174 को जब्त कर थाना परिसर लाया और चालक एवं परिचालक से पूछताछ प्रारंभ की है। पुलिस ने रात में ही भंडारण स्थल पर जांच की तो वहां पर बोरियां खुली हुई अवस्था में पाई गईं। उनमें राख के साथ कुछ केमिकल भरा पाया गया। अमानक खाद की 200 से ज्यादा बोरियां भी गोदाम में पाई गईं।
पुलिस ने बाेरियों को ट्रक में भरकर पुलिस थाना लाया। मौके पर सतपुड़ा ताप विद्युत गृह के साइलो प्लांट की राख का भंडारण भी मिला है। इससे यह स्पष्ट हो गया है कि कंपनी के द्वारा बाेरियों में राख भरकर किसानों को सल्फर, आयरन, जिंक, बोरान, कापर, मैंगनीज का मिश्रण होने का दावा कर 50 किलो की बोरी 750 रुपये में बेची जा रही है।खाद का निर्माण करने के बाद उसे बोरियों में, पैकिंग कर जिले ही नही बल्कि आसपास के जिलों में भी सप्लाई किया जा रहा है।
बोरियाें पर जय किसान एआर सुपर पाउडर गीतांजलि आर्गेनिक प्राइवेट लिमिटेड लिखा हुआ है। इसमें वजन 50 किलोग्राम के साथ कीमत 750 रुपये अंकित की गई है। इस कथित खाद को सभी फसलों के लिए उपयोगी बताया गया है।पुलिस ने खाद के नाम पर राख से भरी बाेरियों को जब्त करने के बाद कृषि विभाग के अधिकारियों को सूचना दे दी है। कृषि विभाग की टीम सोमवार को पहुंचकर मौके पर मिली बाेरियों से सैंपल लेकर प्रयोगशाला में जांच करेगी। इसके बाद ही सामने आएगा कि खाद के नाम पर आखिर बोरियों में क्या भरा गया है।