compensation for acquired land:अधिग्रहित जमीन का 3 साल बाद भी नहीं मिला मुआवजा

युवा आदिवासी विकास संगठन के नेतृत्व में किसानों ने कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन


compensation for acquired land:बैतूल। पट्टन तहसील के ग्राम चकोरा में बने डेम में अधिग्रहित जमीन के मुआवजे की मांग को लेकर युवा आदिवासी विकास संगठन के जिला अध्यक्ष जितेंद्र सिंह इवने के नेतृत्व में किसानों ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा। जितेंद्र सिंह इवने ने बताया कि बांध का निर्माण पूरा हो चुका है और इसमें पानी भी लबालब भरा हुआ है, लेकिन जिन किसानों की जमीन इस परियोजना के लिए अधिग्रहित की गई थी, उन्हें अब तक मुआवजे की एक भी राशि नहीं मिली है।


जितेंद्र सिंह इवने ने बताया कि वर्ष 2021 में भूमि अधिग्रहण अधिनियम 2013 के तहत लगभग 45 किसानों की भूमि अधिग्रहित की गई थी। नियमानुसार, किसानों को अधिग्रहण के समय कुछ राशि और बांध निर्माण के बाद शेष मुआवजा मिलना था, लेकिन तीन साल बीतने के बाद भी किसानों को कोई भुगतान नहीं किया गया।


ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि शासन और प्रशासन ने किसानों के साथ छल किया है। यह पूरी प्रक्रिया गैरकानूनी है और दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की जानी चाहिए। साथ ही, जब तक किसानों को उनका मुआवजा नहीं मिल जाता, तब तक अन्य किसानों को डेम से पानी उठाने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए। जिन किसानों की जमीन डूब क्षेत्र में गई है, केवल उन्हें ही पानी उठाने का अधिकार दिया जाए।

ज्ञापन सौंपने के दौरान ग्रामीण राजेंद्र, चैतू, धनराज, देवीदास, सोहनसिंह, मनोहर, बलवंत, केशोराव सहित कई किसान शामिल थे। उन्होंने प्रशासन से जल्द से जल्द मुआवजा दिलाने और न्यायपूर्ण कार्रवाई करने की मांग की।किसानों का कहना है कि प्रशासन की अनदेखी से उनकी आर्थिक स्थिति खराब हो गई है, और अब वे मुआवजे की राह देख-देखकर परेशान हो चुके हैं। यदि उनकी मांगों को जल्द नहीं सुना गया तो वे उग्र आंदोलन के लिए मजबूर होंगे।

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